न्यूजीलैंड और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज का आगाज हो चुका है। 3 मैचों की टेस्ट सीरीज के पहले टेस्ट मैच का 28 नवंबर से क्राइस्टचर्च के हेगले ओवल में खेला जा रहा है। टॉस जीतकर इंग्लैंड ने मेजबान कीवी टीम को पहले बल्लेबाजी करने का न्यौता दिया। पहले दिन न्यूजीलैंड ने शानदार आगाज किया। न्यूजीलैंड ने पहले दिन का खेल खत्म होने तक 8 विकेट खोकर 319 रन स्कोरबोर्ड पर लगा दिए थे। दूसरे दिन कीवी टीम पहले ही सेशन में 348 रनों पर सिमट गई। इसके जवाब में इंग्लैंड की पारी का आगाज बेहद खराब रहा। इंग्लिश टीम ने अपने 3 विकेट महज 45 रन के स्कोर पर ही खो दिए।
सलामी बल्लेबाज जैक कॉली अपना खाता भी नहीं खोल सके और चौथे ओवर में मैट हेनरी का शिकार बने। वहीं, डेब्यूटेंट ऑलराउंडर जैकब बेथेल अपने पहले ही मैच में फेल हो गए। बेथेल ने सिर्फ 10 रन बनाए। इसके बाद बल्लेबाजी करने के लिए नंबर-1 टेस्ट बल्लेबाज जो रूट मैदान पर उतरे लेकिन बिना खाता खोले पवेलियन लौट गए। रूट के पास अपने 150वें टेस्ट मैच में बड़ी पारी खेलने का शानदार मौका था लेकिन वह सिर्फ चार गेंदों का सामना कर सके और नाथन स्मिथ की गेंद पर बोल्ड हो गए। इस तरह जो रूट के नाम शर्मनाक रिकॉर्ड दर्ज हो गया।
दरअसल, जो रूट दुनिया के तीसरे ऐसे खिलाड़ी बन गए हैं, जो अपने 150वें टेस्ट मैच डक पर आउट हुए। इससे पहले टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में 2 बल्लेबाजों के साथ ऐसा हुआ था और दोनों ही ऑस्ट्रेलिया से ताल्लुक रखते हैं। रूट से पहले ऑस्ट्रेलिया के पूर्व कप्तान स्टीव वॉ और रिकी पोंटिंग अपने-अपने 150वें टेस्ट मैच में डक पर आउट होकर पवेलियन लौट गए थे। स्टीव वॉ ने साल 2002 में ये खराब रिकॉर्ड बनाया था जबकि पोंटिंग के साथ साल 2010 में ऐसा हुआ था।
अपने 150वें टेस्ट में डक पर आउट होने वाले खिलाड़ी
- स्टीव वॉ (ऑस्ट्रेलिया बनाम पाकिस्तान) – शारजाह, 2002 (पहली गेंद)
- रिकी पोंटिंग (ऑस्ट्रेलिया बनाम इंग्लैंड) – एडिलेड, 2010 (पहली गेंद)
- जो रूट (इंग्लैंड बनाम न्यूजीलैंड) – क्राइस्टचर्च, 2024 (चौथी गेंद)
जो रूट वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के इतिहास में 8वीं बार डक पर आउट हुए। WTC में 8 या उससे ज्यादा बार डक पर आउट होने वाले वह दुनिया के छठे बल्लेबाज बन गए हैं। इस मामलें में पहले पायदान पर बांग्लादेश के मोमिनुल हक हैं। हक 10 बार अब तक आउट हो चुके हैं।
वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) के इतिहास में सबसे ज्यादा बार डक
मोमिनुल हक (बांग्लादेश) – 10 (54 पारी)
रोरी बर्न्स (इंग्लैंड) – 8 (38 पारी)
कुसल मेंडिस (श्रीलंका) – 8 (45 पारी)
जेसन होल्डर (वेस्टइंडीज) – 8 (56 पारी)
जैक क्रॉली (इंग्लैंड) – 8 (81 पारी)
जो रूट (इंग्लैंड) – 8 (112 पारी)*
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