रूसी ड्रोन पर ज्यादा न उछले पाकिस्तान, भारत ने कर ली है 'समर-2' की तैयारी


हम भारतीयों के लिए कल एक चोट पहुंचाने वाली खबर आई. दरअसल भारत के भरोसेमंद दोस्त रूस ने ही उसका भरोसा पर जख्म दिया है. जी हां! राष्ट्रपति पुतिन ने हमारे दुश्मन देश पाकिस्तान को ड्रोन देने की डील की है. हालांकि इस डील से ज्यादा घबराने की जरूरत नहीं, क्योंकि इधर भारत ने अपनी हिफाजत के लिए ‘समर’ की तैयारी कर ली है.

दरअसल भारतीय वायु सेना (IAF) ‘समर 2’ नाम के एक नए देसी एयर डिफेंस सिस्टम की टेंस्टिंग की तैयारी कर रहा है. यह कवच दुश्मन की मिसाइलों को 30 किलोमीटर दूर से ही मार गिरा सकता है. खबर है कि इसी साल दिसंबर में इसकी पहली टेस्टिंग कर ली जाएगी.

पहले 8, तो अब 30 किलोमीटर दूर तक करेगा मार
समर-2 नाम का यह कवच दुश्मन के प्लेन, ड्रोन और हेलीकॉटर्स को 30 किलोमीटर दूर से ही मार गिरा सकता है. इससे पहले एयरफोर्स में समर-1 को शामिल किया जा चुका है. हालांकि उसकी मारक क्षमता 8 किलोमीटर है. ये दोनों ही रक्षा कवच रूसी टेक्नोलॉजी वाले हवा से हवा में मार करने वाली मिसाइलों का इस्तेमाल करते हैं. ‘समर 1’ जहां R-73E मिसाइल से लैस है, तो वहीं इस नए कवच में R-27 मिसाइल लगाई गई है. एयरफोर्स अधिकारियों ने बताया कि ‘समर’ सिस्टम लड़ाकू विमानों, हेलीकॉप्टरों और ड्रोन सहित सभी तरह हवाई खतरों को नष्ट कर सकता है.

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DRDO भी बना रहा देसी डिफेंस सिस्टम
दूसरी तरफ रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) के प्रोजेक्ट ‘कुशा’ के तहत सतह से हवा में मार करने वाली लंबी दूरी की मिसाइल सिस्टम भी विकसित कर रहा है. इसकी अधिकतम मारक क्षमता 350 किलोमीटर होगी और इसे लगभग चार से पांच वर्षों में तैनात किए जाने की उम्मीद है. डीआरडीओ ने इसके साथ ही बहुत कम दूरी की वायु रक्षा प्रणाली (VSHORADS) भी विकसित की है. यह एक ऐसी हवाई रक्षा प्रणाली है, जिसे एक से दूसरी जगह पर आसानी से ले जाया जा सकता है. यह कम दूरी पर कम ऊंचाई वाले हवाई खतरों से निपट सकती है.

दरअसल भारत ने हवाई हमलों से रक्षा के लिए रूस से S-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम खरीदा है. वहीं इजरायल के साथ मिलकर बनाई गई मध्यम दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल (MRSAM) सिस्टम शामिल हैं. इसके अलावा, भारतीय सेना के पास जो दूसरे हवाई सुरक्षा हथियार मौजूद हैं, उनमें शामिल हैं- इजरायली स्पाइडर, सोवियत मूल के हथियार जैसे-पेचोरा, OSA-एके, तुंगुस्का, स्ट्रेला और शिल्का, जू-23-2बी एंटी-एयरक्राफ्ट गन, अपग्रेडेड L-70 एंटी-एयरक्राफ्ट गन (स्वीडिश हथियार फर्म बोफोर्स एबी की बनाई पुरानी तोप), और इग्ला MANPADS (एक ऐसी हवाई रक्षा प्रणाली जिसे एक स्थान से दूसरे स्थान पर आसानी से ले जाया जा सकता है).

Tags: Indian air force, Pakistan news



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